बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के गृह जिले नालंदा में जहरीली शराब से 11 लोगों की मौत के बाद अब सत्ताधारी दलों के बीच बहस तेज हो गई है, और इसी क्रम में एनडीए की सहयोगी और पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी की पार्टी  ने बिहार में शराबबंदी कानून समाप्त करने की बड़ी मांग उठाई है। हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा ने कहा है कि नालंदा में जहरीली शराब कांड से यह स्पष्ट हो गया है कि बिहार में शराबबंदी कानून पूरी तरीके से फेल हो गयी है, और इस कानून को अब निरस्त कर दिया जाना चाहिए।

बीजेपी भी अब नीतीश कुमार पर आक्रमक हो गई है। नीतीश कुमार पर बीजेपी की तरफ से आक्रमण सीधे प्रदेश अध्यक्ष डॉ. संजय जयसवाल ने किया है, उन्होंने फेसबुक के माध्यम से कहा : “नालंदा जिले में जहरीली शराब से 11 मौतें हो चुकी हैं।
परसों मुझसे जहरीली शराब पर जदयू प्रवक्ता ने प्रश्न पूछा था। आज मेरा प्रश्न उस दल से है कि क्या इन 11 लोगों के पूरे परिवार को जेल भेजा जाएगा क्योंकि अगर कोई जाकर उनके यहां संतवाना देता तो आपके लिए अपराध है।अगर शराबबंदी लागू करना है तो सबसे पहले नालंदा प्रशासन द्वारा गलत बयान देने वाले उस बड़े अफसर की गिरफ्तारी होनी चाहिए क्योंकि प्रशासन का काम जिला चलाना होता है ना कि जहरीली शराब से मृत व्यक्तियों को अजीबोगरीब बीमारी से मरने का कारण बताना। यह साफ बताता है कि प्रशासन स्वयं शराब माफिया से मिला हुआ है और उनकी करतूतों को छुपाने का काम कर रहा है।
दूसरे अपराधी वहां के पुलिस वाले हैं जिन्होंने अपने इलाके में शराब की खुलेआम बिक्रि होने दी । 10 वर्ष का कारावास इन पुलिस कर्मियों को होना चाहिए, ना कि इन्हें 2 महीने के लिए सस्पेंड करके नया थाना देना जहां वह यह सब काम चालू रख सकें।
तीसरा सबसे बड़ा अपराधी शराब माफिया है जो शराब की बिक्री विभिन्न स्थानों पर करवाता है। इस को पकड़ना भी बहुत आसान है ।इन्हीं पुलिस कर्मियों से पुलिसिया ढंग से पूछताछ की जाए तो उस माफिया का नाम भी सामने आ जाएगा। शराब बेचने वाले और पीने वाले दोनों को सजा अवश्य होनी चाहिए पर यह उस हाइड्रा की बाहें हैं जिन्हें आप रोज काटेंगे तो रोज उग जाएंगे ।जड़ से खत्म करना है तो प्रशासन ,पुलिस और माफिया की तिकड़ी को समाप्त करना होगा।”

दूसरी तरफ विपक्षी आरजेडी ने भी बिहार में शराबबंदी कानून फेल होने की बात कही। पार्टी प्रवक्ता शक्ति सिंह यादव ने कहा कि बिहार में जिस तरीके से जहरीली शराब से लगातार मौत हो रही है उसकी जिम्मेदारी लेते हुए नीतीश कुमार को अपने पद से इस्तीफा देना चाहिए।

शक्तिसिंह यादव ने कहा कि ”पिछले दिनों बिहार में जहरीली शराब से हुई कई मौतों के बाद भी नीतीश कुमार की आंखें नहीं खुली है। बिहार में शराबबंदी पूरी तरीके से ध्वस्त हो चुका है। अनुशासन शराब की की आपूर्ति कराने में भूमिका निभा रहा है मगर नीतीश कुमार मानने को तैयार नहीं है. नीतीश कुमार को नैतिकता के आधार पर इस्तीफा देना चाहिए।”

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